झालावाड़ हादसे के बाद डरे बच्चे, उदयपुर के कई स्कूलों में छुट्टी कराई गई

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झालावाड़ हादसे के बाद डरे बच्चे, उदयपुर के कई स्कूलों में छुट्टी कराई गई
राहुल शर्मा
उदयपुर, 26 जुलाई: झालावाड़ के पिपलोदी गांव में राजकीय उच्च प्राथमिक स्कूल की छत गिरने से 7 बच्चों की मौत के बाद पूरे राजस्थान में डर और ग़म का माहौल है। इसका असर उदयपुर जिले में भी देखने को मिला, जहां कई स्कूलों में बच्चे पहुंचे ही नहीं या फिर ग्रामीणों ने खुद छुट्टी करवा दी।
मावली के भीमल गांव स्थित चारणान उच्च प्राथमिक स्कूल में बच्चों और ग्रामीणों ने स्कूल की जर्जर स्थिति के विरोध में स्कूल के मुख्य द्वार पर ताला जड़ दिया। यहां 85 छात्र स्कूल के बाहर बैठ गए। स्थानीय लोगों का कहना है कि तीन वर्षों से स्कूल की स्थिति की जानकारी जनप्रतिनिधियों को दी जा रही है, लेकिन कोई सुनवाई नहीं हुई।
गोज्या गांव के राजकीय प्राथमिक स्कूल में 114 बच्चों में से केवल 15 ही स्कूल पहुंचे, जिन्हें बाद में ग्रामीणों ने वापस भेज दिया। पूर्व पंचायत समिति सदस्य पृथ्वीराज मीणा ने बताया कि स्कूल के तीन कमरे और दो दीवारें बेहद जर्जर हैं।
पलाना कलां के निंबाडा की डांग स्कूल की छत से बारिश का पानी और सीमेंट के टुकड़े गिर रहे हैं। प्रधानाचार्य रजनी गोयल के अनुसार, पिछले तीन वर्षों से शिक्षा विभाग को रिपोर्ट दी जा रही है लेकिन कोई समाधान नहीं हुआ।
कोटड़ा ब्लॉक के कई स्कूलों की हालत भी गंभीर है। नाल भियाटा गांव में बांस का अस्थायी ढांचा बनाकर पढ़ाई हो रही है क्योंकि स्कूल भवन पूरी तरह क्षतिग्रस्त है। नयावास के गुजनिया गांव और घाटा गांव के स्कूलों की छतें भी असुरक्षित हैं, जहां सरिये बाहर निकल आए हैं।
वाणीवरी पिपला स्कूल में प्लास्टर गिर चुका है। सौभाग्य से उस समय बच्चे कमरे में नहीं थे, जिससे बड़ा हादसा टल गया।
ग्रामीणों और अभिभावकों की मांग है कि स्कूलों की मरम्मत जल्द हो, ताकि बच्चों की सुरक्षा सुनिश्चित की जा सके।